वडोदरा। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद बिलकिस बानो केस के 11 दोषी फिर से जेल जाएंगे। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद दाहोद जिले की रंधिकपुर सिंगवड तहसील में पुलिस बल को तैनात कर दिया गया है। बिलकिस बानो के रिश्तेदारों ने पटाखे फोड़कर खुशियां मनाई, वहीं दोषियों के घर सन्नाटा पसरा हुआ है।
बिलकिस बानो केस में सिंगवड रंधिकपुर गांव के 11 लोगों को मुंबई की सेशंस कोर्ट ने दोषी ठहराते हुए 21 जनवरी 2008 काे उम्रकैद, जबकि एक दोषी को 3 साल की सजा सुनाई थी। दोषियों ने निचली अदालत के फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती दी थी। साल 2017 में हाईकोर्ट ने सेशंस कोर्ट के फैसले को मान्य रखा था। गुजरात सरकार ने लंबे समय से जेल में बंद दोषियों को आजाद के अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में सजा माफ करके जेल से रिहा करने का आदेश दिया था।
बिलकिस बानो ने गुजरात सरकार के फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार के फैसले को गलत बताते हुए दोषियों की सजा बरकरार रखने का आदेश दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने दोषियों को दो सप्ताह में आत्मसमर्पण करने का आदेश दिया है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद दाहोद पुलिस ने रधिंकपुर में दोषियों और देवगढ़ बारिया में बिलकिस बानों के घर की सुरक्षा बढ़ा दी है। बिलकिस बानो के रिश्तेदारों से पटाखे फोड़कर खुशियां मनाई।
रंधिकपुर और देवगढ़बारिया के लोग 2002 के गुजरात दंगों को भूलकर शांति से रह रहे हैं। यहां का माहौल शांतिपूर्ण है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद दोषियों के परिवारवालों ने कुछ भी कहने से इनकार कर दिया है।
बिलकिस बानू केस का फैसला आने के बाद रंधिकपुर और देवगढ़बरिया में पुलिस बल तैनात
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